OLA Share Crash: अगस्त में हुई लिस्टिंग तब पैसा हुआ डबल, लेकिन अब शेयर -50% टूटा,
OLA Share Price : अगस्त में हुई लिस्टिंग तब पैसा हुआ डबल, लेकिन अब शेयर -50% टूटा,
OLA Share Price:- Ola Electric Mobility Ltd के शेयर में गिरावट थम नहीं रही है. शेयर मंगलवार को 7 फीसदी से ज्यादा टूट गया. मंगलवार को शेयर 80.84 रुपये के बंद भाव के मुकाबले 80.04 रुपये पर खुला. इसके बाद शेयर गिरकर 75 रुपये के नीचे आ गया है. आपको बता दें कि शेयर की लिस्टिंग अगस्त महीने में हुई थी. तब शेयर 75 रुपये से बढ़कर 140 रुपये के पार पहुंच गया था. शेयर ने 157.40 रुपए का ऑल टाइम हाई भी छूआ है.
अब परेशानी ये हैं कि शेयर में गिरावट थम नहीं रही है.
अब आई एक और बड़ी खबर- कंपनी के लगभग 18.2 करोड़ (182 मिलियन) शेयर , जो पहले लॉक इन थे. मतलब ये कि वो शेयर बिक्री से प्रतिबंधित थे. वहीं, अब बेचे जा सकेंगे. ये करीब 18.2 करोड़ शेयर है. जो कुल इक्विटी का 4% है.
जब कोई कंपनी आईपीओ लाती है, तो कुछ निवेशकों को स्टॉक की कीमतों को स्थिर करने और अचानक बिक्री को रोकने के लिए "लॉक-इन अवधि" के दौरान अपने शेयर बेचने से रोक दिया जाता है.
अब आई एक और बड़ी खबर- कंपनी के लगभग 18.2 करोड़ (182 मिलियन) शेयर , जो पहले लॉक इन थे. मतलब ये कि वो शेयर बिक्री से प्रतिबंधित थे. वहीं, अब बेचे जा सकेंगे. ये करीब 18.2 करोड़ शेयर है. जो कुल इक्विटी का 4% है.
जब कोई कंपनी आईपीओ लाती है, तो कुछ निवेशकों को स्टॉक की कीमतों को स्थिर करने और अचानक बिक्री को रोकने के लिए "लॉक-इन अवधि" के दौरान अपने शेयर बेचने से रोक दिया जाता है.
यह अवधी प्रमुख निवेशकों, जैसे प्रमोटरों और एंकर निवेशकों को अपने शेयर रखने में मदद करती है, जिससे कंपनी के लॉन्ग टर्म ग्रोथ को सहारा मिले.
लॉक-इन अवधि के दौरान, कंपनी के अंदरूनी- कर्मचारी या शुरुआती निवेशक जैसे शेयरधारकों को खुले बाजार में अपने शेयर बेचने या व्यापार करने की अनुमति नहीं होती है.
जो ऐसी घटनाओं के तुरंत बाद बाजार में शेयरों की बड़ी आमद को रोककर स्टॉक की कीमत को स्थिर करने में मदद करता है, जो अस्थिरता का कारण बन सकता है.
लॉक-इन अवधि के दौरान, कंपनी के अंदरूनी- कर्मचारी या शुरुआती निवेशक जैसे शेयरधारकों को खुले बाजार में अपने शेयर बेचने या व्यापार करने की अनुमति नहीं होती है.
जो ऐसी घटनाओं के तुरंत बाद बाजार में शेयरों की बड़ी आमद को रोककर स्टॉक की कीमत को स्थिर करने में मदद करता है, जो अस्थिरता का कारण बन सकता है.
एक बार लॉक-इन अवधि समाप्त होने के बाद, शेयरधारक अपने शेयर बेच सकते हैं. इससे अक्सर शेयर में तेज गिरावट आती है.
8 नवंबर को होगी अहम बैठक-ओला इलेक्ट्रिक मोबिलिटी ने बताया कि बोर्ड की अहम बैठक होगी. इस बोर्ड बैठक में तिमाही नतीजों का एलान होगा.
8 नवंबर को होगी अहम बैठक-ओला इलेक्ट्रिक मोबिलिटी ने बताया कि बोर्ड की अहम बैठक होगी. इस बोर्ड बैठक में तिमाही नतीजों का एलान होगा.
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Disclaimer: शेयर बाजार में निवेश बाजार के जोखिमों के अधीन है. निवेश से पहले अपने एडवाइजर से परामर्श करें.
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